बुधवार दाेपहर एक बज रहे थे। पोस्टमार्टम हाउस में एक विधवा सिसक रही थी, जिसका सुहाग काेराेना ने छीन लिया था। कह रही थी कि कमाने वाला चला गया अब तीन जवान बेटियाें की शादी कैसे हाेगी। बेटे की परवरिश कैसे हाेगी।
सिसकने वाली काेई और नहीं बल्कि मंगलवार काे गुजराज के वापी से श्रमिक ट्रेन से स्टेशन उतरने के क्रम में अपनी जान गंवाने वाले दरभंगा के राढ़ी गांव के लाल बाबू कामती की विधवा कृष्णा देवी थी। बुधवार काे उसकी काेराेना जांच रिपोर्ट निगेटिव अाई। इसके बाद शव का पोस्टमार्टम हुआ। पत्नी बच्चाें काे लेकर रातभर पति के शव के साथ पोस्टमार्टम हाउस में बैठी रही। हालांकि उसे मायागंज अस्पताल के शवगृह में पति के शव काे रखने काे कहा गया था, लेकिन वह तैयार नहीं हुई। पत्नी के बयान पर रेल पुलिस ने यूडी केस दर्ज किया है।
डाॅक्टराें की मानें ताे फैक्ट्री में वाॅचमैन की नाैकरी करने वाले लाल बाबू कामती की माैत हार्ट अटैक से हुई है। गुरुवार दाेपहर 12 पति के पोस्टमार्टम के बाद शव काे लेकर दरभंगा अपने पैतृक घर जाने के लिए एंबुलेंस के लिए काफी परेशान रही।
बिना रिपाेर्ट आए पोस्टमार्टम नहीं हाे सकता था
बिना काेराेना की जांच रिपाेर्ट आए पोस्टमार्टम नहीं हाे सकता था। जांच रिपाेर्ट आने के बाद पोस्टमार्टम किया गया। शव काे मायागंज अस्पताल के शवगृह में रखने काे कहा गया था। लेकिन महिला ने कहा कि वाे पोस्टमार्टम हाउस में ही रहेगी।-डाॅ. संदीप लाल, हेड पोस्टमार्टम विभाग
एंबुलेंस के लिए करनी पड़ी चिराैरी डीएम के हस्तक्षेप के बाद मिला
पाेस्टमार्टम के बाद पति के शव काे दरभंगा ले जाने के लिए महिला काे काफी चिरौरी करनी पड़ी, उसे काफी परेशानी हुई। बाद में जब इसकाे लेकर सिविल सर्जन काे जानकारी दी गई ताे उनका कहना था कि मायागंज अस्पताल के अधीक्षक शववाहन उपलब्ध कराएंगे। शव वाहन उन्हीं के पास है। मायागंज अस्पताल के अधीक्षक डाॅ. आरसी मंडल का कहना था कि बुधवार काे करीब 14 मरीज काे डिस्चार्ज किया गया है। इसलिए चालक एंबुलेंस लेकर मरीज काे लेकर गए हैं। बाद में इसकी जानकारी एसएसपी आशीष भारती काे दी गई।



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Three daughters have to turn their hands yellow;

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