बुधवार को सरकार के आदेश पर जिला प्रशासन बार्डर से अपना शिविर हटा लिया। इधर,खजुरा गांव के आसपास गंदगी का अंबार लगने से लोगों में महामारी फैलने की आशंका बढ़ गई है। बता दें की जहां सरकारी कर्मी अपनी ड्यूटी के दौरान मास्क और दस्ताना का प्रयोग करते थे, कूड़े के ढेर में बिखरा हुआ है जबकि खाने-पीने का पात्र भी बिखरा हुआ है। ग्रामीण बताते हैं कि महादलित बस्ती में जिस तरह से गंदगी का अंबार लगा हुआ है और प्रचंड उमस भरी गर्मी से महामारी फैलने की आशंका है। कहीं महामारी का रूप धारण ना कर ले। इसका डर गांव के लोगों को सता रहा है।

प्रवासी मजदूरों का बार्डर का होने लगा जुटान
यूपी-बिहार कर्मनाशा बॉर्डर तब सुर्खियों में आया जब दुनिया के देशों से कोरोना बीमारी भारत में दस्तक दी। जैसे ही इस बीमारी से निपटने के लिए सरकार ने पूरे देश में संपूर्ण लाॅक डाउन किया देश के कोने-कोने से प्रवासी मजदूरों का पलायन होने लगा ऐसे में मुंबई सूरत, हरियाणा, दिल्ली, गुरुग्राम, बंगलोर, तेलंगाना सहित तमाम राज्य के शहरों से हजारों के तादाद में प्रवासी मजदूर यूपी-बिहार कर्मनाशा बॉर्डर पहुंचने लगे।



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Camp was removed from Karmnasha border, there was a lot of dirt around Khajura village

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