तेज हवा के साथ मूसलाधार बारिश ने प्रखंड के किसानों की कमर तोड़ दी है। खेत-खलिहान में रखे राई ,सरसो ,मसुर की फसल भींग गये हैं। यदि धूप नहीं निकली तो यह फसल अंकुरित हो जाएगा व खाने योग्य नहीं रहेगा ।बारिश से खेत में खड़ी फसलों पर खतरा मंडराने लगा है। किसान किसी प्रकार से कटी फसल को बचाने के प्रयास में हैं। बारिश देख खुश होने वाले किसानों के चेहरे पर हवाइयां उड़ रहीं थी। बारिश के कारण गेहूं की कटनी-दवनी के साथ काम ठप हो गया। प्रखंड के किसान नवल किशोर प्रसाद ,सुधीर सिह, विपिन सिंह आदि ने बताया कि अभी कई जगह मसुर राई ,रसो काटने का काम चल रहा है ।

मुअावजे की मांग

किसानों ने सरकार से आग्रह किया कि जो भी क्षतिपूर्ति बनती है सरकार उसे जल्द भुगतान करें, ताकि भूखे मरने की नौबत ना आये। किसानों ने कहा कि एक ओर कम बारिश से फसल ठीक नहीं हुई, जो हुई भी उस पर बारिश ने पानी फेर दिया है।ऐसे में किसानों के प्रति सरकार को नरमी अपनाते हुए राहत देने का काम करना चाहिए ।तेज बारिश से खेतों में खड़ी गेहूं की फसल गिर गई, खेतों में काटकर रखे गए मसुर, राई के फसल पानी में डूब गए। खलिहान में पानी जमा होने से मसुर के बोझे पानी में डूब गए।



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